
डे नाईट न्यूज़ बनासकांठा जिले की दांता सीट पर पिछले दो दशक से कांग्रेस का एक तरफा राज रहा है। लगातार पांच बार से इस सीट पर कांग्रेस को जीत मिली रही है। भाजपा आज तक सिर्फ दो बार इस सीट पर जीत दर्ज कर सकी है। 1990 और 1995 में लगातार दो बार भाजपा के कांतिभाई कचोरिया यहां कमल खिलाने में सफल रहे थे। 24 साल से राज्य की सत्ता में काबिज भाजपा के लिए दांता एक अभेद दुर्ग की तरह बन गया है।
2017 के विधानसभा चुनाव में भी इस सीट पर कांग्रेस को जीत मिली थी जो उसकी लगातार पांचवीं जीत थी। कांग्रेस के कांतिभाई कलाभाई खराड़ी ने भाजपा के मालजी भाई खराड़ी को 24 हजार वोटों से हराया था। इस चुनाव में कुल नौ उम्मीदवार मैदान में थे जिनमें से सात उम्मीदवारों की जमानत जब्त हो गई थी। 2012 में भी कांग्रेस के कांतिभाई कलाभाई खराड़ी ने भाजपा उम्मीदवार गामाभाई भीखा भाई खराड़ी को 26 हजार वोटों से हराया था। कांतिभाई खराड़ी से पहले लगातार तीन बार 1998, 2002 और 2007 में यहां से कांग्रेस के मुकेश कुमार गढ़वी जीते थे।
कांग्रेस ने एक बार फिर कांतिभाई कलाभाई खराड़ी को टिकट दिया है। वहीं, भाजपा ने इस सीट पर लधुभाई चांदाभाई पारघी को उतारा है। आप के महेन्द्रभाई केसराभाई बुंबडिया मुकाबले को त्रिकोणीय बनाने में लगे हैं। इस सीट पर पांच दिसंबर को दूसरे चरण में मतदान होगा। नतीजे आठ दिसंबर को आएंगे।
दंता सीट, बनासकांठा जिले के अंतर्गत आने वाली 9 सीटों में से एक है। 2017 में जिले की 9 में से 5 सीटों पर कांग्रेस को जीत मिली थी। वहीं, चार सीटों पर भाजपा जीत दर्ज करने में सफल रही थी।
पहले चरण में 89 सीटों पर चुनाव होना है। पहले चरण के लिए पांच नवंबर को अधिसूचना जारी हुई। 14 नवंबर तक नामांकन किया गया। नामांकन पत्रों की जांच 15 नवंबर को हुई। 17 नवंबर तक नाम वापस लिए गए। वहीं, एक दिसंबर को चुनाव हुआ।
इसी तरह दूसरे चरण में 93 सीटों पर चुनाव होना है। इसके लिए अधिसूचना 10 नवंबर को जारी हुई। 17 नवंबर तक नामांकन दाखिल किया गया। 18 नवंबर को नामांकन पत्रों की जांच हुई। वहीं, 20 नवंबर तक नाम वापस लिए गए। दूसरे चरण के लिए पांच दिसंबर को वोट डाले जाएंगे। चुनाव नतीजे आठ दिसंबर को आएंगे।